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जयपुर। पंडित जवाहरलाल नेहरू की 130वीं जयंती पर राजधानी जयपुर के जवाहर कला केंद्र में एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जिसमे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शिरकत की एवं सगोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा कि पंडित नेहरू ने आजादी के लिए लंबा संघर्ष किया लेकिन आज नेहरू को लेकर कुप्रचार किया जा रहा है. जबकि नेहरू ने देश में जब सुई भी नहीं बनती थी तब नेतृत्व संभाला और देश मे बिजली, सड़क से लेकर कई उपलब्धियों वाले काम किए| उन्होंने कहा कि पं. नेहरू दूरदृष्टि रखते थे। प्रधानमंत्री बनने के बाद उन्होंने देश को विकास के पथ पर अग्रसर करने के लिये कई कदम उठाये। मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि आज देश जिस दिशा में जा रहा है वह हर नागरिक के लिये चिंता का विषय है। आज सोशल मीडिया के माघ्यम से ऎसे व्यक्तित्व के बारे में युवाओं को गुमराह किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पं. नेहरू के व्यक्तित्व और कृतित्व को सही तरीके से हमारी नई पीढी तक पहुंचाया जा सके इसके लिये राज्य सरकार पं. जवाहरलाल नेहरू बाल साहित्य अकादमी की स्थापना कर रही है।
संगोष्ठी में मुख्य वक्ता इतिहासकार सैयद इरफान हबीब ने कहा कि पं. नेहरू को समझने के लिये हमें आजादी के समय के परिपे्रक्ष्य को समझना होगा। जब वे देश के प्रधानमंत्री बने तब देश निर्माण में कई चुनौतियां सामने थी। बाहर के देशों पर भारत की निर्भरता कम करने के लिये यहां उत्पादन बढाने की जरूरत थी। 17 साल के उनके प्रधानमंत्री काल में उन्होंने अपनी दूरदृष्टि के कारण देश की मजबूत बुनियाद रखी। आज देश जिस मुकाम पर है उसकी आधारशिला पं. नेहरू जी ने रखी है।
संगोष्ठी के दूसरे सत्र के वक्ता डॉ. आलोक श्रीवास्तव ने भी आधुनिक भारत के निर्माण में पं. जवाहरलाल नेहरू के योगदान पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम में समन्वयक की भूमिका डॉ. दुर्गाप्रसाद अग्रवाल ने निभाई।
इससे पहले मुख्यमंत्री गहलोत सिविल लाइन्स स्थित अपने निवास पर बच्चों से मिले, उसके बाद पीसीसी पहुंचकर जवाहर लाल नेहरू को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी। इसके बाद वह उन्होंने जेकेके में फोटो प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। इस मौके पर उनके साथ कार्यक्रम में मुख्य सची डी. बी. गुप्ता, सूचना एवं जनसम्पर्क मंत्री डॉ. रघु शर्मा, जवाहर कला केन्द्र की निदेशक श्रीमती किरण सोनी गुप्ता, प्रमुख शासन सचिव कला एवं संस्कृति श्रीमती श्रेया गुहा, जनप्रतिनिधि एवं गणमान्यजन उपस्थित थे।






पं. जवाहरलाल नेहरू की 130वीं जयंती पर जवाहर कला केंद्र में संगोष्ठी का आयोजन किया, मुख्यमंत्री गहलोत ने की शिरकत

जयपुर। पंडित जवाहरलाल नेहरू की 130वीं जयंती पर राजधानी जयपुर के जवाहर कला केंद्र में एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जिसमे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शिरकत की एवं सगोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा कि पंडित नेहरू ने आजादी के लिए लंबा संघर्ष किया लेकिन आज नेहरू को लेकर कुप्रचार किया जा रहा है. जबकि नेहरू ने देश में जब सुई भी नहीं बनती थी तब नेतृत्व संभाला और देश मे बिजली, सड़क से लेकर कई उपलब्धियों वाले काम किए| उन्होंने कहा कि पं. नेहरू दूरदृष्टि रखते थे। प्रधानमंत्री बनने के बाद उन्होंने देश को विकास के पथ पर अग्रसर करने के लिये कई कदम उठाये। मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि आज देश जिस दिशा में जा रहा है वह हर नागरिक के लिये चिंता का विषय है। आज सोशल मीडिया के माघ्यम से ऎसे व्यक्तित्व के बारे में युवाओं को गुमराह किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पं. नेहरू के व्यक्तित्व और कृतित्व को सही तरीके से हमारी नई पीढी तक पहुंचाया जा सके इसके लिये राज्य सरकार पं. जवाहरलाल नेहरू बाल साहित्य अकादमी की स्थापना कर रही है।
संगोष्ठी में मुख्य वक्ता इतिहासकार सैयद इरफान हबीब ने कहा कि पं. नेहरू को समझने के लिये हमें आजादी के समय के परिपे्रक्ष्य को समझना होगा। जब वे देश के प्रधानमंत्री बने तब देश निर्माण में कई चुनौतियां सामने थी। बाहर के देशों पर भारत की निर्भरता कम करने के लिये यहां उत्पादन बढाने की जरूरत थी। 17 साल के उनके प्रधानमंत्री काल में उन्होंने अपनी दूरदृष्टि के कारण देश की मजबूत बुनियाद रखी। आज देश जिस मुकाम पर है उसकी आधारशिला पं. नेहरू जी ने रखी है।
संगोष्ठी के दूसरे सत्र के वक्ता डॉ. आलोक श्रीवास्तव ने भी आधुनिक भारत के निर्माण में पं. जवाहरलाल नेहरू के योगदान पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम में समन्वयक की भूमिका डॉ. दुर्गाप्रसाद अग्रवाल ने निभाई।
इससे पहले मुख्यमंत्री गहलोत सिविल लाइन्स स्थित अपने निवास पर बच्चों से मिले, उसके बाद पीसीसी पहुंचकर जवाहर लाल नेहरू को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी। इसके बाद वह उन्होंने जेकेके में फोटो प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। इस मौके पर उनके साथ कार्यक्रम में मुख्य सची डी. बी. गुप्ता, सूचना एवं जनसम्पर्क मंत्री डॉ. रघु शर्मा, जवाहर कला केन्द्र की निदेशक श्रीमती किरण सोनी गुप्ता, प्रमुख शासन सचिव कला एवं संस्कृति श्रीमती श्रेया गुहा, जनप्रतिनिधि एवं गणमान्यजन उपस्थित थे।






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